आईआईएम उदयपुर में डीईएम और जीएससीएम में एक वर्षीय पूर्णकालिक एमबीए के 2023-24 बैच की शुरुआत

आईआईएम उदयपुर में डीईएम और जीएससीएम में एक वर्षीय पूर्णकालिक एमबीए के 2023-24 बैच की शुरुआत
आईआईएम उदयपुर में डीईएम और जीएससीएम में एक वर्षीय पूर्णकालिक एमबीए के 2023-24 बैच की शुरुआत

उदयपुर : इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, उदयपुर में अकादमिक वर्ष 2023-24 के लिए अपने एक वर्षीय एमबीए ग्लोबल सप्लाई चेन मैनेजमेंट (जीएससीएम) कार्यक्रम के ग्यारहवें बैच और एक वर्षीय एमबीए डिजिटल एंटरप्राइज मैनेजमेंट (डीईएम) के चौथे बैच का उद्घाटन समारोह आयोजित किया गया। संस्थान ने वर्ष 2023-24 के शैक्षणिक वर्ष के लिए दोनों पाठ्यक्रमों में पिछले बैचों की तुलना में 20 प्रतिशत सीटों की वृद्धि की है ।
उद्घाटन समारोह की अध्यक्षता आईआईएम उदयपुर के डायरेक्टर प्रोफेसर अशोक बनर्जी और एक वर्षीय एमबीए कार्यक्रम समिति के चेयरपर्सन प्रोफेसर राजेश अग्रवाल ने की। टाटा डिजिटल के चीफ एक्जीक्यूटिव ऑफिसर श्री प्रतीक पाल मुख्य अतिथि के रूप में समारोह में शामिल हुए ।
कुल मिलाकर 116 छात्रों ने एक वर्षीय एमबीए प्रोग्राम में दाखिला लिया है, इनमें से 18 पतिशत छात्राएं हैं । ग्लोबल सप्लाई चेन मैनेजमेट (जीएससीएम) में एक साल के एमबीए प्रोग्राम में 55 छात्र हैं, जबकि डिजिटल एंटरप्राइज मैनेजमेंट (डीईएम) में एक साल के एमबीए प्रोग्राम में 61 छात्रों ने नामांकन कराया है।


2023-24 के एक वर्षीय एमबीए प्रोग्राम बैच में विभिन्न औद्योगिक पृष्ठभूमि के अनुभव के साथ विभिन्न छात्रों ने दाखिला लिया है। कार्यक्रम में ऐसे छात्र भी हैं जो पहले कृषि, ऑटोमोबाइल, बैंकिंग और वित्त, परामर्श और आईटी सेवाओं, कंज्यूमर ड्यूरेबल्स, ई-कॉमर्स, एड-टेक, शिक्षा, एफएमसीजी और रिटेल, सरकारी परामर्श, आईटी और एआई जैसे उद्योगों में काम कर चुके हैं। साथ ही, आईटी और एनालिटिक्स सर्विसेज, मैनेजमेंट कंसल्टिंग, मैन्युफैक्चरिंग, मार्केटिंग, मीडिया एंड एंटरटेनमेंट, ऑयल एंड एनर्जी, पब्लिशिंग, रियल एस्टेट, सोशल सर्विस, टेक्नोलॉजी कंसल्टिंग, टेलीकॉम, डिफेंस, इवेंट मैनेजमेंट, हेल्थकेयर एंड फार्मा, इंटरनेशनल डेवलपमेंट, माइनिंग, स्टील एंड इंजीनियरिंग और यूटिलिटी, पावर कंपनी में काम का अनुभव रखने वाले विद्यार्थी भी इस बैच में हैं। इस तरह विविध औद्योगिक पृष्ठभूमि से आने वाले छात्रों के अनुभव और ज्ञान का एक बड़ा लाभ यह होगा कि छात्र एक-दूसरे के दृष्टिकोण और विशेषज्ञता से भी काफी कुछ सीख सकते हैं।


अपने स्वागत भाषण में आईआईएम उदयपुर के डायरेक्टर प्रोफेसर अशोक बनर्जी ने कहा, "आईआईएम उदयपुर में आप सभी का स्वागत करते हुए मुझे बहुत खुशी हो रही है। मैं हमारे एक साल के एमबीए प्रोग्राम की खूबियों के बारे में बात करना चाहता हूं। ये ऐसी खूबियां हैं, जो इस ऐसे अन्य कार्यक्रमों से अलग करती ह। यह कार्यक्रम केवल एक डिग्री नहीं, बल्कि एक ऐसा अनुभव है, जो परिवर्तन को संभव बनाता है और एक पेशेवर के तौर पर आप में बहुत बदलाव लाता है । मुझे पक्का यकीन है कि इस एक वर्ष के अंत तक, आपमें कुछ ऐसे गुण होंगे जो आपके जीवन के तरीके को बदल देंगे । परिवर्तन की दिशा में होने वाली इस यात्रा में कुछ महत्वपूर्ण पड़ाव भी होंगे, जैसे मौजूदा दौर में प्रासंगिकता, या आपका कम्युनिकेशन स्किल कैसा है। साथ ही नेटवर्किंग संबंधी अवसर, टाइम मैनेजमेंट और क्लासरूम में आप जो कुछ हासिल करते हैं, उससे भी यह यात्रा पूरी होगी ।"


उन्होंने आगे कहा, "प्रासंगिकता आपको कारोबारी माहौल को गहरी समझ हासिल करने और बेहतर निर्णय लेने में मदद करेगी। संचार कौशल आपको अपने विचारों को स्पष्टता और आत्मविश्वास के साथ व्यक्त करने में मदद करेगा। साथी छात्रों, संकाय, कर्मचारियों और उद्योग के नेताओं के साथ नेटवर्किंग के अवसर आपके दृष्टिकोण को व्यापक बनाएंगे और आपको उनके अनुभवों से सीखने में सक्षम बनाएंगे। क्लासरूम लर्निंग आपको लगातार बदलते व्यावसायिक परिदृश्य में कामयाब होने के लिए आवश्यक ज्ञान और कौशल से लैस करेगा। और अंत में, समय प्रबंधन आपको अपने व्यक्तिगत और व्यावसायिक जीवन को संतुलित करने और अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने में मदद करेगा। मैं आपसे इस परिवर्तनकारी अनुभव का अधिकतम लाभ उठाने और खुले दिमाग से यात्रा में शामिल होने का आग्रह करता हूं।"


मुख्य अतिथि टाटा डिजिटल के चीफ एक्जीक्यूटिव ऑफिसर श्री प्रतीक पाल ने कहा, "आज की कारोबारी दुनिया में, न केवल जीवित रहने के लिए, बल्कि तेजी से आगे बढ़ने के लिए डिजिटल परिवर्तन आवश्यक है। डिजिटल परिवर्तन को अपनाने वाले उद्योग और स्टार्टअप अपने अस्तित्व को कायम रखने में कामयाब हो रहे हैं, और लोग अधिक कुशल और उपभोक्ता - केंद्रित बनने के लिए भी डिजिटल को अपना सकते हैं । अमेज़न जैसी कंपनियों ने ई-कॉमर्स और ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफॉर्म पेश करके बेस्ट बाय जैसे खिलाड़ियों के कारोबार को बाधित कर दिया है। भविष्य में, हम बैंकिंग क्षेत्र और अन्य क्षेत्रों में भी इस तरह के व्यापक परिवर्तन देखेंगे ।"


उन्होंने आगे कहा, "डिजिटल - फर्स्ट कंपनी बनने के लिए बेहद जरूरी है कि आपकी विरासत और संस्कृति भी ऐसी हो और दीर्घकालिक धैर्य के साथ-साथ आप इनोवेशन के लिए भी तैयार रहें। हमें डिजिटल व्यवसाय में सोचसमझ कर निर्णय लेने और उपलब्ध संसाधनों का बुद्धिमानी से उपयोग करने के लिए डेटा का उपयोग करना सीखना होगा। भारत ने पेमेंट संबंधी इन्फ्रास्ट्रक्चर और खरीदारी में एक शानदार बदलाव देखा है, असंगठित कारोबार जैसे फार्मेसी और रिटेल भी डिजिटल मोड में स्थानांतरित हो रहे हैं। डिजिटल डोमेन मे एक बड़ा अवसर है क्योंकि यहां हर दिन नए प्रयोग हो रहे हैं । और जल्द ही हम विभिन्न क्षेत्रा में बड़े पैमाने पर बदलाव देखेंगे ।"
"आज की कारोबारी दुनिया में नई भूमिकाएं लेने के लिए, हमें डिजिटल परिवर्तन के वास्तविक मूल्य से अच्छी तरह वाकिफ होने और बिजनेस मॉडल में बदलाव लाने के लिए इसे अपनाने की जरूरत है। याद रखें, डिजिटल दुनिया लगातार विकसित हो रही है, और हमें खेल में आगे रहने के लिए इसके साथ ही आगे बढने और विकास करने की आवश्यकता है । "